बरहट -पिछले दिनों रुक-रुक कर हुई बारिश धान की फसल के लिए बरदान साबित हुई है। जहां पानी के अभाव में खेतों में दरार आने लगी थी, जिसे देख किसान काफी परेशान चल रहे थे। लेकिन यह बारिश धान के लिए संजीवनी के समान काम किया, और अब धान के फसल से वाली निकलने लगी है। वालियों में अच्छी गुणवत्ता देख किसानों का दिल वाग-वाग हो रहा है। वालियाँ के परागण के वाद ओस की बूंदे से दाना भरेगा। किसान ललन सिंह ने बताया की पिछले साल सूखाग्रस्त रह जाने से काफी नुकसान हुआ था। किंतु इस साल धान से निकले वाली वालियां देखकर अच्छी पैदावार होने की आस जगी है। बीच में अगर बरसात नहीं हुई ,तो धान के वाली के समय से पहले भी वाली पक जाएगा।जिससे की किसान समय से रवि फसल की वुआई भी कर लेगा ।
ऐसे बचाएं धान की फसल
कृषि पदाधिकारी विजय कुमार ने बताया की धान की बाली निकलते समय किसानों को काफी एहतियात बरतने की जरूरत होती है। वालियाँ निकलते समय कई सारे किट लग जाते हैं। यह वालियों में वैठकर दाना बनने से पहले ही वाली के रस चुस लेते हैं। जिस कारण दाने की क्वालिटी चली जाती है। इसके बचाव के लिए एनपीटी, जिंक,पोटास ,फास्पोरस ,जैसी दवाइयां की छिड़काव करना चाहिए।
बरहट से शशिलाल की रिपोर्ट